रामपुरा- गांधी सागर अभ्यारण क्षेत्र में चीता प्रोजेक्ट के कारण क्षेत्र के किसानों को बहुत ही परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। अभ्यारण एवं फॉरेस्ट को लेकर गांधी सागर बांध के निर्माण के समय इस क्षेत्र में किसानों को विस्थापित किया गया था। उन्होंने एक लंबे समय के बाद इस क्षेत्र की भूमि को उपजाऊ बनाया और उस भूमि को सरकार ने अभ्यारण सीमा में लेकर लोगों की आजीविका एवं पशुओं के सामने बड़ी दिक्कत पैदा कर दी है। रामपुरा नगर का व्यापार व्यवसाय इससे काफी हद तक प्रभावित होगा यह रामपुरा नगर के लिए चेतावनी भी है उक्त बात पूर्व मंत्री एवं मनासा के पूर्व विधायक श्री नरेंद्र नाहटा में रामपुरा में आयोजित एक पत्रकार वार्ता में कही। श्री नाहटा ने वर्तमान भाजपा सरकार पर आरोप लगाया कि वह क्षेत्र के किसानों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए कार्य नहीं कर रही है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री के मनासा आगमन पर जब मुख्यमंत्री के समक्ष उक्त मुद्दे को रखने की बात हमने करी तो शासन प्रशासन में हमें मिलने से इनकार कर दिया। श्री नाहटा ने कहा कि कंजार्डा से लेकर रामपुरा पठार तक की शासकीय की भूमि निजी कंपनियों को देखकर पशुपालकों एवं किसानों के सामने बड़ी परेशानी खड़ी करती है साथ ही पेयजल योजना के कारण मनासा विधानसभा क्षेत्र में सड़कें उबड़ खाबड़ एवं गड्ढों में तब्दील हो चली है।